Saturday, March 16, 2013

दिल्ली में गूंजेगी‘बिहार की हुंकार’



दिल्ली के रामलीला मैदान में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार बिहार की ओर से हुंकार भरेंगे। कोशिश होगी कि साढ़े दस करोड़ बिहारवासियों की आवाज केन्द्रीय सत्ता के साथ ही पूरे देश में गूंजे। साथ ही बिहार के तर्ज पर पिछड़े अन्य प्रदेशों की सहमति भी बने। इसीलिए बहुप्रचारित जनता दल यू की अधिकार रैली पर सबकी निगाहें टिकी हुई हैं। दरअसल, राजनीतिक रूप से अहम मानी जा रही इस रैली में बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के भाषण के समय का चयन और रैली की तैयारी के तौर तरीकों ने भी सबको चौकन्ना कर दिया है। रैली को सफल बनाने के लिए साइबर तकनीक का सहयोग भी लिया गया है। रैली के दूरगामी राजनीतिक परिणाम भी आंके जा रहे हैं। बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने की यह मांग अगामी लोकसभा चुनाव से लेकर 2015 में होने वाले बिहार विधान सभा चुनावों में जदयू का प्रमुख एजेंडा रहने वाला है। आम बिहारियों को आकर्षित कर रहे इस मुद्दे को चुनावी एजेंडा बनाने की जुगत रामलीला मैदान से हो सकती है। इसलिए रैली की तैयारियों से लेकर भीड़ जुटाने व प्रचार-प्रसार की बारीकियों का खास ख्याल रखा गया है। सूत्रों की माने तो नीतीश कुमार संभवत: रामलीला मैदान के पास स्थित फैज इलाही मस्जिद में नमाज खत्म होने के बाद अपना संबोधन करेंगे। इससे पहले पार्टी के नेता दिल्ली में मौजूद बिहार से आए लोगों से मिलकर यह संदेश देने में जुटे रहे हैं कि विकास ही जदयू का मूलमंत्र है। माना जा रहा है कि नीतीश कुमार के भाषण का लब्बोलुआब भी यही होगा। बिहार को विशेष राज्य का दर्जा दिलाने की मांग को लेकर दिल्ली में जदयू की रैली की तैयारी के दौरान भी लोगों को इन्हीं मुद्दों पर लामबंद करने की कोशिश की गई है। बिहार की तमाम परेशानियों का निदान भी विशेष दर्जा के आईने में दिखाया गया है। अगर यह दर्जा मिल गया तो फिर बिहार मॉडल स्टेट बन जाएगा...निवेशक उल्टे पांव दौड़ पड़ेंगे, कल कारखाने लग जाएंगे, रोजगार की गारंटी होगी, मजदूरों का पलायन रुक जाएगा,दूसरी हरित क्रान्ति की शुरुआत भी यहीं से होगी और फिर पूरे देश में बिहार अव्वल होगा। सुनहरे ख्वाबों के इन लुभावने नारों से भला किसी की क्या असहमति हो सकती है। पार्टी नेता भी इससे अवगत है। आरसीपी सिंह, संजय झा, प्रदेश अध्यक्ष वशिष्ठ नारायण सिंह, प्रदेश महामंत्री छोटू सिंह, नंद किशोर कुशवाहा, सोमा सिंह, प्रभात भुवन समेत सभी सांसद व विधायक दिल्ली के अलग-अलग हिस्सों में बिहारी समुदाय से मिलकर उन्हें रैली में शिरकत करने के लिए आमंत्रित कर चुके हैं। कोशिश रैली में सभी वर्गों को जोड़ने की रही है। मसलन शनिवार को संजय झा व सांसद अली अनवर रामलीला मैदान के पास बसे रिक्शा ठेला चलाने वाले बिहारियों से मिले तो छोटू सिंह व अन्य नेताओं की टीम ने डिफेंस कालोनी के आसपास बिहार के टैक्सी ड्राइवरों के यूनियन को अपने साथ खड़ा करने का दावा किया।रैली के एक दिन पूर्व सूबे के खाद्य व उपभोक्ता संरक्षण मंत्री श्याम रजक ने बुराड़ी, संतनगर,इन्द्रापुरम एवं गाजियाबाद के क्रॉसिंग मॉल इलाके में भ्रमण कर लोगों से रैली में आने की अपील की। यानी रामलीला मैदान में बिहार का हर रंग दिखेगा जहां पढ़े लिखे कामकाजी अधिकारियों के साथ-साथ निचला वर्ग भी खड़ा होगा। सबकी जुबान पर विशेष राज्य का दर्जा होगा।

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