Sunday, December 30, 2012

बलात्कारियों की सजा!



दिल्ली गैंग रेप जैसी शर्मसार करने वाली घटना के बाद देश में महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराध से निपटने के लिए कड़ी से कड़ी सजा की देशवासियों की ओर से मांग की जा रही हैं। अनेक विशेषज्ञों की ओर से भी सुझाव दिए जा रहे हैं। कोई फांसी की सजा की मांग कर रहा है तो कोई बलात्कारियों के दोष सिद्ध होने पर उसे नपुंसक बनाने की मांग कर रहा है। विधि विशेषज्ञों से भी राय शुमारी की जा रही है। केन्द्र सरकार ने इस मुतल्लिक जस्टिस्ट जे एस वर्मा की अध्यक्षता में एक कमिटी का गठन किया है। जानकारी के अनुसार केन्द्र में सत्तारूढ़ कांग्रेस जिसकी दिल्ली गैंगरेप मामले में पूरे देश में किरकिरी हुई हैं भी एक सख्त ड्राफ्ट बिल की तैयारी कर रही है। बलात्कारियों को कड़ी से कड़ी सजा दिलाने के मकसद से कांग्रेस यह ड्राफ्ट जस्टिस वर्मा कमिटी को सुझाव के तौर पर पेश करेगी। इसके तहत रेप के दोषियों को 30 साल तक कैद की सजा की सिफारिश की जाएगी। इसके अलावा इस ड्राफ्ट बिल में रेपिस्टों को केमिकली बधिया करने और 90 दिन की डेडलाइन के साथ फास्ट ट्रैक कोर्ट के गठन का सुझाव भी शामिल है। यह ड्राफ्ट बिल  यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी को भी दिखाया जा चुका है। सोनिया ने महिलाओं के खिलाफ बढ़ते क्राइम को देखते हुए पार्टी को सख्त कानून बनाने को लेकर सक्रियता दिखाने का निर्देश दिया था। सरकार ने सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस जे. एस. वर्मा की अध्यक्षता में तीन सदस्यीय कमिटी गठित की है जो सारे पहलुओं की स्टडी के बाद महिलाओं अपराध के खिलाफ कड़े कानून बनाने पर सुझाव देगी। वर्मा कमिटी दोषियों को कड़ी से कड़ी सजा और पीड़ित को तुरंत न्याय दिलाने को लेकर 30 दिनों की डेडलाइन में काम कर रही है। इसके लिए कमिटी ने 5 जनवरी तक देश भर के लोगों से सुझाव मांगे हैं। वाकई अब समय आ गया है कि इस दिशा में ठोस  पहल हो ताकि पीड़ितों को न्याय मिल सके।  देश अब और इंतजार करने के लिए तैयार नहीं है।

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